एक नया जोश भर दिया
तुम्हारी जीत ने दर्शकों में जोश भरा
सुरेन्द्र सैनी
कितना खाली सा माहौल था
चेहरों पर कोई रंगत ना थी
हर कोई अलग -थलग बैठा था
किसी की कोई संगत ना थी.
की तुम आये
और तुमने अपना खेल खेला
तुम जीते
और माहौल बदल गया
तुम्हारी जीत ने दर्शकों में
एक नया जोश भर दिया.
तुमने अपना सर्वश्रेष्ठ दिया
लोगों को ख़ुश कर दिया.
बन गया
उमंग और उम्मीद का संगम
तुमने सभी को आनंदित किया
दरअसल लहर तो उनके अंदर थी
बस वो समझ ना सके थे
तुम्हारी जीत से मित्र
उन्हें एक अर्थ मिल गया.
यही ज़िन्दगी है "उड़ता "
हमें प्रेरणा उदाहरणों से मिलती है.../